बॉम्बे लीक्स ,बिहार
बिहार विधानसभा की कार्यवाही भोजनावकाश के बाद दूसरी पाली में शुरू होते ही माइक प्रकरण मामले पर ठन गई। विधानसभा अध्यक्ष अवध बिहारी चौधरी ने सदन में नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा को बोलने का मौका दिया। जिसके बाद उन्होंने अपनी पार्टी के विधायक पर लगे आरोप पर कहा कि वो माइक तोड़ नहीं रहे थे बल्कि वो माइक खोल रहे थे। ऐसे में विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही बिहार में विपक्षी सदस्यों (भाजपा) ने वेल में आकर हंगामा शुरू कर दिया। दरअसल बिहार में कानून व्यवस्था को लेकर BJP के विधायक ने हंगामा करने लगे। कानून व्यवस्था और भ्रष्ट्राचार समेत अन्य कई मुद्दे पर विपक्ष में बैठी भाजपा ने सदन में कार्य स्थगन प्रस्ताव लाया। BJP विधायक लखेंद्र पासवान पर सदन में ही माइक तोड़ने का भी आरोप लगा। कड़ी प्रतिक्रिया जताते हुए स्पीकर ने कहा कि इस मामले में पर कार्रवाई होगी। इधर, विधायक लखेंद्र पासवान ने वह आंगनबाड़ी सेविकाओं के मानदेय बढ़ाने की मांग कर रहे थे। अचानक उनका माइक बंद कर दिया गया। मैं माइक को ऑन करने की कोशिश कर रहा था कि वह खुल गया। मैंने माइन नहीं तोड़ा। महागठबंधन की नेताओं ने मेरे लिए अभद्र शब्दों का इस्तेमाल किया गया।विपक्ष का कहना था कि किशनगंज में बहुसंख्यक-अल्पसंख्यक समुदाय के बीच सहज स्थिति नहीं है। गुंडा राज, लालू की अकूत संपत्ति आदि पर हंगामा होने लगा। BJP विधायकों ने वेल में आकर हंगामा किया। अध्यक्ष इस पर सरकार से जवाब दिलाएं। इसपर संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा कि जिस पार्टी के सारे सदस्य वेल में आकर हंगामा कर रहे, वह सदन में गरिमा की बात नहीं करें तो बेहतर है। आंगनबाड़ी सेविकाओं का मानदेय बढ़ाने की मांग को लेकर BJP विधायक प्रदर्शन करने लगे। इधर, माइक तोड़ने का आरोप लगाकर BJP विधायक को लखेंद्र पासवान को 2 दिन के लिए निलंबित कर दिया गया।विरोध में नेता प्रतिपक्ष विजय सिन्हा ने कहा कि लोकतंत्र की हत्या की जा रही है। एकतरफा कार्रवाई करते हुए आसन द्वारा एक निर्दोष विधायक पर कार्रवाई की गई। जिनपर भ्रष्ट्राचार का आरोप लगा है, उसपर कार्रवाई करने की बजाए भाजपा के निर्दोष विधायक पर कार्रवाई की गई। उन्होंने आरोप लगाया कि स्पीकर खुलकर एकतरफा ढंग से सदन चलाना चाह रहे हैं। एक रणनीति के तहत सदन से हमलोगों को बाहर किया गया। उन्होंने कहा कि जब हमारे सभी सदस्यों को अंदर नहीं लिया जाएगा तब तक हमलोग विरोध करते रहेंगे। इस कार्रवाई के विरुद्ध विधानसभा अध्यक्ष के सामने धरना प्रदर्शन करेंगे। विधायक लखेन्द्र पर निलंबन की कार्रवाई कार्यमन्त्रणा समिति की अनुशंसा पर हुई। कार्रवाई से बचने के लिए विधायक को खेद व्यक्त करने का विकल्प दिया गया था, जिसे उन्होंने स्वीकार नहीं किया।संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने निलंबन का प्रस्ताव रखा। यह ध्वनिमत से पारित हो गया। विधानसभा अध्यक्ष अवध बिहारी चौधरी ने सदन को बताया कि कार्यमंत्रणा समिति की बैठक में सभी सदस्यों ने कार्यवाही के वीडियो को देखा।साफ नजर आ रहा है कि लखेंद्र माइक तोड़ रहे हैं। विपक्ष के नेता विजय कुमार सिन्हा और लखेंद्र कह रहे थे कि जानबूझकर माइक तोड़ने का प्रयास नहीं किया गया।सरकार की ओर से निलंबन का प्रस्ताव आने के बाद भी अध्यक्ष ने रौशन को खेद प्रकट करने का विकल्प दिया। वह इसके लिए राजी नहीं थे। उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने भी रौशन के विरुद्ध कार्रवाई का समर्थन किया।
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