शाहिद अंसारी
मुंबई:मुंबई मे हर साल चोरी के 3000 मामले दर्ज किए जाते हैं जिनमे घर और दुकान दोनों शामिल हैं ऐसी जानकारी मुंबई क्राइम ब्रांच ने दी है।जबकि चोरी किए गए माल की बात करें तो यह 65 करोड़ तक जा पहुंचा है लेकिन सब से अहम यह कि चोरी किया हुआ माल रिकवर करने में मुंबई पुलिस कां आंकड़ा कोई खास नहीं है।साल 2010 से लेकर 2016 तक जो वारदातें सामनें आई हैं उनमें अबतक 18992 मामले दर्ज किए गए हैं जिनमें 10819 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया जबकि इन 7 सालों में 3,264,292,428 रूपए का माल चोरी हुआ है।जबकि चोरी के बाद मात्र 575,843,476 रूपए का माल आरोपियों से पुलिस बरामद कर सकी।इस तरह से बरामद किए गए माल का प्रतिशत मात्र 28 % ही रहा।चोरी के बाद जांच के मामले को लेकर गाइडलाइंस पर अमल न करना या लापरवाही करने की वजह से माल की बरामदगी में काफी कमी देखी गई।घटना स्थल पर फिंगर प्रिंटस् एकट्ठा करने के साथ साथ चोरी के बाद घटना स्थल पर डाग स्कॉड के ज़रिए भी मुआएना करना ज़रूरी होता है लेकिन वीआईपी सुरक्षा में तैनात डॉग स्कॉड को इस तरह के मामलों को लेकर फुरसत ही नहीं मिलती।इसलिए मामले हल करने में भी मुशकिलों का सामना करना पड़ता है।कई चोरी के मामलों में पुलिस मामला दर्ज करने से कतराती है जबकि कई लोग पुलिस की झंझट में न पड़ते हुए मामला भी दर्ज करने से खुद कतराते हैं।
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