Bombay Leaks Desk
मुंबई: सेंट्रल वक्फ काउंसिल के सदस्य इंजीनियर मुहम्मद हमीद ने मौलाना बस्तानवी और कांग्रेस लीडर अनीस अहमद पर आरोप लगाते हुए कहा कि यह वक्फ़ के फंड का गलत इस्तेमाल कर रहे हैं अनीस अहमद खुद वक्फ़ मंत्री थे और उन्होंने वक्फ़ का भला करने की आड़ में अपना भला किया।इंजीनियर हमीद ने कहा कि जैसे ही हमें यह पता चला कि कुछ संस्थाऐं वक्फ़ ड्योलपमेंट से (सेंट्रल वक्फ काउंसिल) से लोन लिए थे और अब उसे माफ करने पर विचार हो रहा है यह पूरा अमाउंट 2 करोड़ के आस पास था और लोन धारकों की संख्या 13 थी जिसमें एमपी,करनाटक और महाराष्ट्र की संस्थाऐं हैं।महाराष्ट्र के कौन हैं उस पर हमने विचार किया कुछ दूसरे राज्य की थीं जिसमें कुछ मसिजदें और कुछ शैक्षणिक स्थल थे उसे माफ करने की बात कही गई थी।उनमें से महाराष्ट्र में ही एक ही जगह है दारुल उलूम अक्कल कुआं था जिसके संस्थापक मौलाना बस्तानवी हैं जो खुद गुजरात में रहते हैं और महाराष्ट्र के बार्डर पर अपने मदरसे चलाते हैं।हालांकि बस्तानवी की संस्था की ओर से कहा गया है कि उन्होंने लोन ली हुई रकम वापस कर दी है और जो ब्याज की रकम है उसे माफ़ करने की बात कही थी।हमीद ने सवाल उठाया कि इतनी बड़ी शख्सियत और इतनी बड़ी बड़ी संस्थाऐं चलाने वाले इतने कमजोर कैसे बन गए कि दरगाह और मस्जिदों के अंदर जहां गरीबों के पैसे लगे हों वह उन्हें माफ कर दिया जाए।
हमने इस मुद्दे को उठाया कि सेंट्रल वक्फ काउंसिल डेवल्पमेंट के लिए उन्ही को फंड दिया जाता है जो मदरसे वक्फ बोर्ड में मान्यता प्राप्त हो और मौलाना बस्तानवी का यह मदरसा वक्फ़ बोर्ड मे रजिस्टर्ड ही नहीं है इसलिए इस संस्था को लोन देने का कानून ही नहीं है यह धोकाधड़ी कर के लिया गया और यह महाराष्ट्र वक्फ बोर्ड के सदस्य भी हैं।मामला यहीं नहीं थमा नागपुर में मौजूद महमूदा एजुकेशन सोसायटी ने अपने डेंटल कॉलेज को डेवल्प करने के लिए एक करोड़ का लोन लिया है ताज्जुब इस बात का कि इस डेंटल कॉलेज को अब तक परमीशन ही नहीं मिली और न ही यह वक्फ़ बोर्ड मे रजिस्टर्ड है यह कॉलेज पूर्व वक्फ़ मंत्री अनीस अहमद की पत्नि का है।उन्होंने वक्फड बोर्ड की सीइओ नसीम पटेल पर आरोप लगाते हुए कहा कि वक्फ़ में मौजूद नसीम पटेल से लेकर सारे अधिकारी भ्रष्ट हैं जिनकी बदौलत वक्फ़ माफियओं को बढ़ावा मिला है इसलिए बेहतर यही होगा कि वक्फ़ की प्रॉपर्टी को बचाने के लिए इन सब के खिलाफ़ कार्रवाई और इनकी प्रॉप्रटी की जांच होनी चाहिए।
इस घोटाले को देख अब पूरे मामले की जांच सेंट्रल वक्फ काउंसिल जांच कर रही है और इसको देख अब वक्फ के घओटाले को बेनकाब करने के लिए सीबीआई जांच की भी मांग की गई है ताकि धर्म का चोला पहेन कर वक्फ़ की प्रॉप्रर्टी का गलत इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ़ सख्त कार्रवाई हो।
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