• 20 विपक्षी नेताओ की जल्द होगी पवार के घर बैठक , राष्ट्र मंच के बैनर तले 2024 की होगी तैयारी।
• बड़ा सवाल कि क्या टूट जाएगी सोनिया की यूपीए , या मिलकर बनेगा सबसे बड़ा महागठबंधन।
नई दिल्ली : चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर एवं राजनीति के चाणक्य शरद पवार के बीच हो रही मुलाकातें देश की राजनीति में किसी बड़े फेरबदल का संकेत देने लगी है। एनसीपी सुप्रीमों शरद पवार और प्रशांत किशोर के बीच दिल्ली में एक बार फिर से हुई मुलाकातों ने तमाम अटकलों के बाज़ार गर्म करने शुरू कर दिए है। अगले 24 घण्टे के अंदर शरद पवार के घर होने वाली बैठक के बाद इस बात पर मुहर लगना स्वाभाविक है। पवार के घर विपक्षी दलों के नेताओं की बैठक राष्ट्र मंच के बैनर तले होने जा रही है।राष्ट्र मंच पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा का अपना एक फार्म है।बैठक में लगभग 20 विपक्षी नेताओ के शामिल होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
शरद पवार और प्रशांत किशोर के बीच यह तीसरी मुलाकात है।सूत्रों से मिली ख़बर के मुताबिक पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा जो पिछले दिनों टीएमसी में शामिल हुए थे, उनका ‘राष्ट्र मंच’ के नाम से एक फॉर्म है।राष्ट्र मंच के बैनर तले कल शाम चार बजे शरद पवार के घर पर बैठक बुलाई गई है। इसमें विपक्षी दलों के अलग-अलग चहेरे शामिल होंगे।
ऐसे में बड़ा सवाल खड़ा होता है कि यूपीए टूटकर तीसरे मोर्चे के हिस्सा बनेगा या फिर तीसरा मोर्चा के मुखिया का चेहरा बदल जाएगा !
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी यूपीए की अध्यक्ष है लेकिन हाल फिलहाल में कई राज्यों के चुनाव परिणामों को देखते हुए न सिर्फ कांग्रेस के भीतर घात में ही अपनी ही पार्टी पर सवाल उठने लगे है बल्कि यूपीए के फेस बदलने की भी मांग देखने को मिलती रही है। महाराष्ट्र में महाविकास अघाड़ी सरकार में सहयोगी दल बनी काँग्रेस की कमज़ोर स्थिती को लेकर शिवसेना के संजय राउत लगातार मजबूत विपक्ष की वकालत करते देखे जा रहे है।
राउत के कई बयानों के बाद कयास यहां तक लगाए जाने लगे थे कि कभी भी महाविकास अघाड़ी सरकार को कांग्रेस गिरा सकती है।लेकिन राजनीति के चाणक्य शरद पवार की रणनीति के चलते महाराष्ट्र कि उद्धव सरकार चल रही है।
राउत ने तो खुले शब्दो में कई बार शरद पवार को यूपीए के चेहरे बनाये जाने की वकालत भी कर डाली थी।दबे शब्दो में सीएम ठाकरे ने भी देश में मजबूत विपक्ष ने होने पर सवाल खड़े किए थे।
दरअसल बीते 12 जून को प्रशांत किशोर और शरद पवार के मध्य 3 घंटे की लंबी मीटिंग चली थी।जिसके बाद महाराष्ट्र सरकार में मंत्री नवाब मलिक ने कहा था कि 2024 लोकसभा चुनाव से पहले बीजेपी के खिलाफ रुख रखने वाली पार्टियों के ‘महागठबंधन’ की जरूरत सख्त जरूरत है। वही एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार भी बीजेपी का मुकाबला करने के लिए सभी दलों को एक साथ करने के लिए राष्ट्रीय महागठबंधन की बात कह चुके है। पवार के मुताबिक हम ऐसे दलों को साथ लाने का प्रयास करेंगे जोकि देश हित में बीजेपी की विचारधाराओं से इत्तिफ़ाक़ न रखते हो। देश की सियासत में 75 फीसदी यह तय हो चुका है कि शरद पवार के नेतृत्व में जल्द ही तीसरे मोर्चे के गठन हो जाएगा। तीसरे मोर्चे के संपूर्ण प्रारूप का खाका भी प्रशांत किशोर के पास आंकड़ों और सूचनाओं के साथ पहुँच चुका है।
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