मुंबई: Ministry of Minority Affairs की ओर से मुंबई के कई प्राइवेट टूर ऑपरटर्स को ब्लैक लिस्टेड कर दिया गया उन्हें इस बार हज के लिए एक भी सीटें नहीं दी गई बावजूद इसके ऐसे टूर ऑपरेटर अभी भी पूरी तरह से सक्रीय हैं और हज के लिए मोटी रकम वसूल कर के प्राइवेट तरीके से हज के लिए लोगों को लेकर जा रहे हैं लेकिन इस बार ब्लैक लिस्टेड होने के बाद इस गोरख धंधे को गुप्त तरीके से चलाया जा रहा है यह टूर ऑपरेटर केवल अब उन लोगों को ही लेकर जा जा रहे हैं जो उनके पहचान के या करीबी लोग हैं जिनकी वजह से कार्रवाई का उन्हें कोई खतरा नहीं है इस तरह से ब्लैक लिस्टेड होने के बावजूद हर साल हज की तीर्थ यात्रा के आड में हज़ारों करोड़ों की काली कमाई कर रहे हैं।
साउथ मुंबई में एक बड़ा प्राइवेट टूर ऑपरेटर जो हर साल अपने टूर से कई बड़ी फिल्मीं हस्तियों और हाई प्रोफाइल लोगों को हज यात्रा पर ले जाते हैं इसके ऐवज एक व्यक्ति से 1250000 की रकम वसूली जाती है जबकि हज कमेटी की ओर से हज के लिए मात्र 400000 रूपए ही वसूले जाते हैं लेकिन प्राइवेट टूर ऑपरेटर की ओर से 1250000 की रकम एक आदमी से वसूल कर हज कराया जाता है और मात्र यही नहीं इस टूर ऑपरेटर के पास जो कि 2 लाएसेंस हैं Ministry of Minority Affairs से मात्र 200 वीज़े मिलते हैं लेकिन हर साल 2000 लोगों को अपने टूर कंपनी के माध्यम से हज कराने का रिकार्ड कायम किया है।
200 से 2000 वीज़ा मिलने की कहानी बहुत ही दिलचस्प है दर असल जिन जिन टूर ऑपरेटरों को सीटें मिलती हैं उनसे यह टूर ऑपरेटर वीजा खरीद लेता हैं और उन कंपनियों के एक ट्रावेल एजेंट को साथ में लेकर हज पर रवाना कर देता होते हैं उनके हज और दूसरे खर्चे की ज़िम्मेदारी इस टूर ऑपरेटर की होती है मात्र 200 वीज़े मिलने वाली इस ट्रावेल कंपनी 2000 वीज़े कैसे मिल जाते हैं यह दूसरी कंपनियों से औने पौने भाव में वीज़े खरीद कर उसे हाईप्रोफाइल हस्तियों को महंगे दाम में बेच कर जम कर कमाई करता है।
अब चूकि इन्हें खुद ब्लैक लिस्टेड कर दिया गया है ऐसे में यह न तो हज किसी को करा सकते हैं और न ही किसी को वीज़ा बेच सकते हैं लेकिन चूंकि यह खुद ब्लैक लिस्टेड हुए हैं लेकिन बाकी जो लेग जो ब्लैक लिस्टेड नहीं हैं और उन्हें हज का वीज़ा मिल रहा है उनसे यह बड़ी आसानी से वीज़ा हासिल कर के उसे हैवी अमाउंट में बेच कर अपना गोरख धंधा चमका रहे हैं और Ministry of Minority Affairs के ज़रिए ब्लैक लिस्ट किए जाने के बावजूद उनकी आंखों में धूल झोंक रहे हैं ऐसे में अब Ministry of Minority Affairs की ओर से उन लोगों पर भी शिकंजा कसने की तैयारी को जा रही है जो इन्हें अपना वीजा बेचते हैं।
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