मुंबई : नसीम खान पेशे से पत्रकार हैं नसीम खान ने 1 अप्रैल को (लॉकडाउन पीरियड के दौरान) इंडिगों एयर लाइंस से 18 अप्रैल 2020 का टिकट बुक किया था यह टिकट नसीम खान ने उनकी 60 वर्षी माता चंदा बेगम और अपनी बहेन अफशां बी और अपने 2 भांजे असद खान और आतिफ खान का था लेकिन जैसे ही पीएम मोदी ने दूसरे लॉकडाउन का एलान किया तो यह फ्लाइट भी पहले लॉकडाउन के जैसे कैंसल हो गई और नसीम खान द्वारा बुक किया हुआ टिकट का पैसा क्रेडिट नोट के लॉलीपॉप के रुप में उन्हें थमा दिया गया अब नसीम खान इस क्रेडिट नोट से एक साल के भीतर इसी रुट की यात्रा कर सकते हैं।
इन टिकटों के अलावा के अलावा भी उनके पास कई क्रेडिट नोट हैं यह टिकट भी उन्होंने अपने रिश्तेदारों के लिए बुक किए थे जो कि पहले लॉकडाउन में फ्लाइट कैंसल होने के कारण क्रेडिट नोट के रुप में लॉलपॉप थमा दिया इस प्रकार से नसीम खान के पास इस समय 15500 रुपए का दिल्ली का क्रेडिट नोट है और दूसरा पहले लॉकडाउन का क्रेडिट नोट 10150 रुपए है इस तरह से देश मा मात्र नसीम खान के पास ही 25000 से अधिक का क्रेडिट नोट का लॉलीपॉप है।
लेकिन उसके लिए इंडिगो की जो शर्तें है उनमें से सब से अहम यह हैं।इनमें जिन जिन यात्रियों का टिकट बुक किया गया है अगले साल के अंदर ही वही यात्री क्रेडिट नोट से यात्रा कर सकते हैं। अगर उस वह यात्रा का किराया ज्यादा हुआ तो नसीम खान को वह पैसे अलग से देने होंगे।
अब ऐसे में सवाल यह उठता है कि की जब दूसरे लॉकडाउन के बारे मे उन्हें जानकारी नहीं थी उन्होंने आखिर टिकट किस बिना पर बुक किया ???
क्या बुक किए यात्रियों की अगले एक साल की जिंदी रहने की गारंटी इंडिगो एयरलाइंस देती है यदी इनमे से किसी की मौत हो जाती है तो वह पैसे भी क्या इंडिगो की ही झोली मे जाऐँगे क्योंकि उन्हें किसी दूसरे यात्री को यात्रा करने के लिए मना किया है ???
लॉकडाउन की जानकारी क्या इंडिगो एयरलाइंस को ही पहले होती है पीएम मोदी को बाद में दी जाती है इसी लिए धड़ल्ले से टिकट की बुकिंग की जाती है या लोगों के पैसे ऐँठने के लिए बुकिंग खोल दी जाकी है और बाद मे क्रेडिट नोट का लीपॉप थमा दिया जाता है क्योंकि वह पैसे अब हर हाल में यात्रियों को इस्तेमाल ही करना है न करने की सूरत में वह इंडिगो की ही झोली में जाऐंग ???
यात्री टिकट कैंसल करे तो उसे एक पैसे नहीं मिलता यदि यात्रियों ने टिकट बुक किया और महामारी के चलते या किसी और कारण फ्लाइट कैंसल होती है तो वह पैसे यात्रियों को वापस दिए जाने के बजाए क्रेडिट नोट में ही क्यों बदल दिया जाता है ??? इसका मतलब यह हुआ कि हर हाल में आम आदमी का ही नुकसान है और एयरलाइंस कंपनियों को ऐसे में करोड़ों रुपए का मुनाफा कमाती हैं ???
लाकडाउन के चलते न तो इनके कस्टमरकैर मौजूद रहते हैं और अगर मौजूद भी रहे तो घंटों आनलाइन उनका इंतेज़ार करना पड़ता है जैसे ही उनसे यात्री बदलने की बात करें तो वह भाग जाते हैं कोरोना की महामारी दिल्ली और मुंबई में है इसमें 60 वर्ष के आस पास के लोग ज्यादा ग्रसित हैं इंडिगों इनकी टिकट बुक कर लेती है बिना किसी मेडिकल प्रक्रिया या किसी मेडिकल उपचार के क्या इन्हें किसी प्रकार की छूट दी गई है ???
यह मात्र नसीम खान हैं देश मे न जाने कितने यात्री ऐसे होंगे जो लाकडाउन मे यात्रा नही कर सके और उन्हें क्रेडिट नोटका लॉलीपॉप थमा दिया गया इनकी संख्या हजारों मे होती और इंडिगो की जरिए उन्हें थमाया गया यह लॉलीपॉप का नोट करोड़ों का होगा।
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