बॉम्बे लीक्स ,मुंबई
कर्नाटक के बाद अब मुंबई में बुर्का और हिजाब पर बवाल और हंगामा खड़ा हो गया है। दरअसल, बुधवार को मुंबई के चेंबूर में एनजी आचार्य एंड डीके मराठे कॉलेज ऑफ ऑर्ट्स, साइंस और कॉमर्स के 12वीं कक्षा की कई छात्राओं को सुरक्षा गार्डों ने कॉलेज परिसर में प्रवेश करने से रोक दिया था। इस फैसले के विरोध में परिजनों व छात्राओं ने विरोध किया और वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के हस्तक्षेप के बाद कॉलेज में एंट्री देने को मंजूरी दे दी गई।
जानकारी के मुताबिक चेंबूर में स्थित कॉलेज के सुरक्षाकर्मियों ने छात्राओं को प्रवेश करने से पहले अपना बुरका उतारने को कहा क्योंकि कॉलेज की अपनी यूनिफॉर्म है।लेकिन मुस्लिम छात्राओं ने बुर्का उतारने का इंकार किया।ऐसे में सुरक्षाकर्मियों के प्रवेश देने से मना करने पर विवाद पैदा हो गया।मामला कालेज की लड़कियों के माता-पिता तक पहुचा तो वे भी कॉलेज पहुंच गए और गेट के बाहर के दृश्यों के वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित होने लगे।इसके बाद कॉलेज प्रशासन ने हंगामे की जानकारी पुलिस-प्रशासन को दी। जानकारी मिलते ही पुलिस-प्रशासन मौके पर पहुँची और छात्राओं के परिजनों को समझाने की कोशिश की, लेकिन वे बुर्का हटाने के लिए तैयार नहीं हुए। इसके बाद पुलिस ने मुस्लिम छात्राओं के माता-पिता और कॉलेज प्रशासन से चर्चा कर हल निकालने की कोशिश की।बताया गया कि मुस्लिम छात्राओं ने कहा कि वे कालेज के अंदर बुर्का उतारने को तैयार है। लेकिन कक्षा में स्कार्फ यानी हिजाब पहनेंगी। कॉलेज प्रबंधन क्लास में हिजाब पहनने की छूट देने के लिए तैयार हो गया। इसके बाद तनाव शांत हुआ।कहा गया कि लड़कियों को कक्षा में जाने से पहले वॉशरूम में बुर्का उतारना होगा।कॉलेज के प्रशासन के मुताबिक लड़कियों को नकाब, हिजाब और बुर्का में प्रवेश दिया जाएगा। इसके बाद उन्हें वॉशरूम में जाकर नकाब, हिजाब और बुरका बदलना होगा। कॉलेज परिसर में स्टूडेंट्स को यूनिफॉर्म में ही रहना होगा। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि जिस किसी छात्रा को कॉलेज का ड्रेस कोड स्वीकार्य नहीं है, वह कॉलेज छोड़ सकता है।
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